सुनील कश्यप, जगदलपुर- बस्तर जिला मुख्यालय जगदलपुर से महज 25 किलोमीटर दूर स्थित तोकापाल ब्लाक के मेथाडिस्ट एपिस्कोपल चर्च एर्राकोट में आज 29 जनवरी दिन रविवार को धन्यवादी का पर्व धूमधाम से मनाया गया. जिसमें बड़ी संख्या में आसपास के लोग मौजूद रहे.

दरअसल प्रति वर्ष की भांति इस वर्ष भी बस्तर संभाग में मेथाडिस्ट एपिस्कोपल चर्च के तमाम कलीसिया में धन्यवाद का पर्व मनाया जा रहा है. जिसमें आसपास के चर्च के सदस्य को निमंत्रण दिया जाता है. इसी कड़ी में आज एर्राकोट चर्च में धन्यवादी का पर्व आयोजित किया गया था. इस धन्यवाद इस पर्व में शामिल होने के लिए जगदलपुर शहर के लोगों के अलावा आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों से भी सैकड़ों की संख्या में ग्रामीण मौजूद रहे. और उन्होंने बढ़-चढ़कर धन्यवाद पर्व में बोली लगाई. और प्रभु परमेश्वर की महिमा की. इस धन्यवादी पर्व पर अंतिम नीलामी देशी मुर्गे की हुई. जो 250 रुपये से शुरू होकर 5 हजार में खत्म हुई. जिसके बाद अंतिम नीलामी को अपने नाम करने वाले रायपुर के सदस्य व मुर्गे के साथ स्थानीय पासवानों, बोलीकर्ताओ, मिशनरियों व स्थानीय लोगों द्वारा यादगार तस्वीर खिंचाया गया.

यह है धन्यवादी पर्व-

मेथोडिस्ट एपिस्कोपल चर्च एर्राकोट के पासवान रेव्ह वीरेंद्र नाथ ने बताया कि जिस प्रकार से बाइबिल के पुराने नियम में लिखा गया है कि कैन और हाबिल खेती बाड़ी से काटे गए पहले फसल और भेड़ बकरियों के पहिलौठे बच्चे को धन्यवाद स्वरूप परमेश्वर के पास लेकर गए. ठीक उसी प्रकार जब परमेश्वर ने हमें जीवन दिया, मृत्यु से बचाया, हमारे परिवार को वर्षभर सुरक्षित रखा, हमारे खेती बाड़ी, काम कमाई, रोजी- रोजगार में आशीष दिया. इसीलिए हम भी वर्ष पूरा होने के बाद हर्षोल्लास के साथ परमेश्वर को धन्यवाद स्वरूप भेंट अर्पित करते हैं. जिसे हम धन्यवादी पर्व कहते हैं.

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